World War 2

 World War 2 | द्वितीय विश्व युद्ध के कारण

(द्वितीय विश्व युद्ध की इतिहास)

World War 2

World War 2 यानि द्वितीय विश्व युद्ध दुनिया के इतिहास में सबसे खतरनाक युद्ध रहा ! प्रथम विश्व युद्ध के बाद दुनिया ने शायद ही सोचा था कि इससे भी खतरनाक युद्ध कभी हो सकता है ! इसीलिए प्रथम विश्व युद्ध का नाम The Great War रखा गया था ! द्वितीय विश्व युद्ध का सबसे बड़ा कारण प्रथम विश्व युद्ध ही था ! प्रथम विश्व युद्ध में जर्मनी की बुरी तरह हार हुई थी ! जर्मनी की तरफ से उसकी सेना में एडोल्फ हिटलर (Adolf Hitler) भी लड़ रहा था और यह हार उसे स्वीकार नहीं था ! यही कारण बना  द्वितीय विश्व युद्ध का जिसे Global War या फिर Total War कहा जाता है !

यह World War 2, १ सितंबर १९३९  से लेकर १९ अगस्त १९४५ तक लड़ा गया था ! कुछ इतिहासकार इसे १९३७  से ही इसकी शुरुआत मानते हैं ! क्योंकि Sino-Japanese War (चीन और जापान के बीच भयानक युद्ध) १९३७  में लड़ा गया था ! World War 2 में लगभग कुल सात से आठ करोड़ लोग मारे गए थे ! इनमे से पांच करोड़ आम नागरिक थे और बाकी के तीन करोड़ सैनिक थे !

Allies Power बनाम Axis Power

इस युद्ध में दुनिया दो गुटों में बटी हुई थी ! एक तरफ Allies Power और दूसरी तरफ  Axis Power ! Allies Power में UK, France, USA, Poland, USSR, China, Greece शामिल थे ! Axis Power में Germany, Italy, Japan शामिल थे ! वैसे पूरी दुनिया किसी न किसी के पक्ष में  जरूर शामिल थी ! हमारा देश भारत भी Allies Power में शामिल था क्योंकि उस समय भारत पर अंग्रेजी ब्रिटिश हुकूमत हुआ करती थी ! द्वितीय विश्व युद्ध में भारत ब्रिटिश हुकूमत के अधीन में जापान और जर्मनी के खिलाफ लड़ रहा था ! वही नेताजी सुभाष चंद्र बोस अपनी आजाद हिंद फौज के साथ मिलकर जापान और जर्मनी की तरफ से इस युद्ध को लड़ रहे थे !

 

द्वितीय विश्व युद्ध का सबसे बड़ा कारण आज क्या माना जाता है?

१९१९ में प्रथम विश्व युद्ध के दौरान हुआ संधि Treaty of Versailles के नाम से जाना जाता है ! इस दौरान जर्मनी की बहुत सारे हिस्से उसके पड़ोसी देशों ने कब्जा कर रखा था। उसका एक मुख्य कारण था पेरिस समझौता। इन दोनों समझौता ने जर्मनी को दबा के रखा था ! १९३३ में एक दौर आता है जब जर्मनी की सत्ता और पूरा कमान Hitler के हाथों में आ जाता है ! धीरे-धीरे हिटलर अपनी खोई हुई जमीनों को वापस लेना शुरू करता है !  जितनी भी संधियां हुई थी उसे तोड़ना भी शुरू कर देता है !

द्वितीय विश्व युद्ध में जापान की ENTRY

उस समय कोई भी देश जर्मनी के खिलाफ कुछ नहीं बोलते है ! परिणाम यह हुआ की १ सितंबर १९३९ को सुबह ४.४५ पर जर्मनी ने पोलैंड पर हमला कर दिया ! कुछ ही घंटों में लाखों जर्मन सैनिक पोलैंड में प्रवेश करता है ! करीब एक माह तक चली इस युद्ध में पोलैंड पर जर्मनी का कब्जा हो जाता है ! फ्रांस और ब्रिटेन पोलैंड की कोई मदद नहीं कर पाए ! करीब छह माह बाद हिटलर के निशाने पर फ्रांस और ब्रिटेन थे ! दूसरी और, इटली में दूसरे तानाशाह मुसोलिनी की यूरोप में  रोमन साम्राज्य की स्थापना के रूप में सत्ता विस्तार की लालसा बढ़ गई ! पश्चिमी दुनिया की यूरोप के देशों में संघर्ष शुरू हो चुके थे ! इधर जापान भी एशिया पर हुकूमत चलाने की तमन्ना पाल रखा था। जर्मनी, इटली, जापान ने लड़ाई शुरू कर दी थी !

वर्ष १९४०  में 9 अप्रैल को हिटलर ने यूरोपीय देश नार्वे पर भी हमला कर दिया ! जर्मन सेना ने नार्वे को तो जीता ही साथ ही उसके और जर्मनी के बीच आने वाले डेनमार्क को भी अपने कब्जे में ले लिया ! इसके बाद कुछ ही महीनों में जर्मनी ने नीदरलैंड, बेल्जियम, लक्जमबर्ग पर हमले किए और उन्हें जर्मन राज्य का हिस्सा बना लिया ! ५ जून १९४० को हिटलर ने करीब १५  लाख सैनिकों को लेकर फ़्रांस पर भी हमला बोल दिया ! महज १५  दिन में जर्मनी ने फ्रांस को परास्त कर दिया ! इस तरह जर्मन सेना ब्रिटेन को छोड़कर लगभग पूरी यूरोप में अपना आधिपत्त जमा चुका था !

द्वितीय विश्व युद्ध में जर्मनी की करारी हार

इसके कुछ ही माह बाद जर्मनी ने ब्रिटेन पर भी हमला बोल दिया ! इन दोनों में घमासान युद्ध कई महीनों तक चला ! आखिरकार इसमें हिटलर को सफलता नहीं मिली और उसने ब्रिटेन के साथ युद्ध रोक दिया और ब्रिटेन से बाद में निपटने का विचार किया ! फिर रूस से बिना किसी कारण के ही युद्ध की शुरुआत कर दी। यही हिटलर का सबसे गलत फैसला साबित होता है ! हिटलर के पतन की शुरुआत यहीं से शुरू होती है ! रूस की सेना के सामने जर्मनी नहीं टिक सका, लाखों नाजी सैनिक मारे गए। रूस की सेना ने जर्मन सैनिकों को खदेड़ दिया !

इसके बाद जर्मनी ने अमेरिका के साथ युद्ध की घोषणा कर दी जबकि अमेरिका और जर्मनी के बीच कोई दुश्मनी थी ही नहीं। इसका सबसे बड़ा कारण था जापान जिसने ७ दिसंबर १९४१ को अमेरिका के Perl Harbour पर हमला कर दिया। इसके चार दिन बाद ही हिटलर ने अमेरिका से युद्ध की शुरुआत कर दी। एशिया में जापान ब्रिटेन के साथ लड़ रहा था। जर्मनी का अमेरिका से युद्ध करना बहुत ही घातक साबित हुआ। ६ जून १९४४ को अमेरिका, ब्रिटेन और अन्य मित्र देशों ने मिलकर अपनी सेना यूरोप में घुसा दी, जर्मनी पर हमला कर दिया !

इससे पहले १९४३ में ही इस सेना ने इटली पर भी कब्जा जमा लिया और वहां के तानाशाह मुसोलिनी को भी पकड़ लिया। कई माह चले इस युद्ध में जर्मनी पस्त हो गया। जर्मनी की हार और तानाशाह हिटलर का अंत तय हो चुका था। ३० अप्रैल १९४५ को हिटलर ने खुद को गोली मारकर खुदकुशी कर ली। हालांकि हिटलर की मौत को लेकर अब भी एक रहस्य माना जाता है। हिटलर के अंत के साथ जर्मनी की हार हो गई और यूरोप में दूसरा विश्व युद्ध समाप्त हो चुका।

द्वितीय विश्व युद्ध के समाप्ति के बाद भारत को एक आजाद लोकत्रांतिक राष्ट्र के रूप में पहचान मिली

इधर एशिया में युद्ध जारी था। जापान ने मित्र देशों की नाक में दम कर रखा था ! जापान ने अमेरिका और चीन के कुछ द्वीपों पर कब्जा कर लिया था ! अमेरिका ने पहले तो जापान को परमाणु हमले की चेतावनी दी लेकिन जापान इससे भी नहीं माना ! फिर ६ अगस्त १९४५ में अमेरिका ने हिरोशिमा पर परमाणु बम फेंक दिया जिसमें लगभग 200000 लोग मारे गए ! इस पर भी जापान अपने अभियान में रुका नहीं और फिर ९ अगस्त १९४५ को दूसरा परमाणु हमला नागासाकी पर अमेरिका ने कर दिया। इस हमले में भी लाखों लोग मारे गए और इसके बाद, इस महाविनाश के साथ ही  दूसरा युद्ध भी समाप्त हो गया। इस तरह का हमला बहुत ही गलत था, इसका परिणाम से आज भी लोग भुगत रहे हैं !

World War 2

द्वितीय विश्व युद्ध समाप्त हो चुका था लेकिन भारत पर अभी भी अंग्रेजी हुकूमत थी ! द्वितीय विश्व युद्ध के साथ जापान का पतन और उसके साथ-साथ नेताजी सुभाष चंद्र बोस की १८ अगस्त १९४५ को लापता होने की खबर आ जाती है ! लेकिन ब्रिटेन इतना कमजोर हो चुका था की वह ज्यादा दिनों तक अब भारत को अपने नियत्रण में नहीं रख सकता था ! द्वितीय विश्व युद्ध भारत के आजादी का सबसे बड़ा कारण ही था ! उसके कुछ ही सालों बाद भारत आजाद भी हो गया था ! आज भारत तानाशाह से मुक्त है और दुनिया का सबसे बड़ा लोकत्रांतिक देश के रूप में अपना पहचान बना चूका है !

 

जय हिन्द, वन्दे मातरम, जय भारत

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